श्री आशुतोष पाण्डेय उर्फ आशु बाबा के 1गो होरी गीत (10) - फगुआ (होरी गीत) संग्रह पहल प्रतियोगिता - 2018
माथवा प लेके सँवरु रंग के गगरिया...
माथवा प लेके सँवरु रंग के गगरिया हम कईसे के आईं ना,
सोझा बाटे मजबूरिया हम कईसे के आईं ना।
सुना हो ईयार याद तोहर बाडा आवेला,मनवा हमार हहर हहर रही जावेला।
मिले खाती आई जा ना गली के कगरिया,हम कईसे के आईं ना.......।टेक।
कवनो जतन हमरा कामे ना आवता,पापा माई भाई सब अँखिया देखावता,छोटका भईयावा बाटे हमारा पंजरिया,हम कईसै आईं ना..........।टेक।
सुत सब जाई तब मिले हम आईब,आशु बाबा बहरी से कुंडी लगाईब।
साजी के प्रशांत रखिह देशी पिचकरिया,हम कईसे आईं ना...........।टेक।
-श्री आशुतोष पाण्डेय उर्फ आशु बाबा
माथवा प लेके सँवरु रंग के गगरिया हम कईसे के आईं ना,
सोझा बाटे मजबूरिया हम कईसे के आईं ना।
सुना हो ईयार याद तोहर बाडा आवेला,मनवा हमार हहर हहर रही जावेला।
मिले खाती आई जा ना गली के कगरिया,हम कईसे के आईं ना.......।टेक।
कवनो जतन हमरा कामे ना आवता,पापा माई भाई सब अँखिया देखावता,छोटका भईयावा बाटे हमारा पंजरिया,हम कईसै आईं ना..........।टेक।
सुत सब जाई तब मिले हम आईब,आशु बाबा बहरी से कुंडी लगाईब।
साजी के प्रशांत रखिह देशी पिचकरिया,हम कईसे आईं ना...........।टेक।
-श्री आशुतोष पाण्डेय उर्फ आशु बाबा
बहुत खूब
जवाब देंहटाएंNice line
जवाब देंहटाएंNice line
जवाब देंहटाएं